
प्रिय चुने हुए लोगों,
हमारा प्रभु यीशु हमसे इतना प्रेम करता है, कि उसे हमारे दिन में एक भविष्यवक्ता को भेजकर प्रसन्नता हुई। वो एक जिस पर उसे 100% भरोसा था। वो एक जिसमें वह आकर और रह सकता था, जिससे कि उस मनुष्य देह के जरिये से अपने आप को प्रकट कर सके ताकि वह अपनी दुल्हन को बुलाये।
उसके भविष्यव्यक्ता ने हमसे इतना प्रेम किया कि उसने हमसे, और परमेश्वर से एक प्रतिज्ञा की कि कोई भी नया संदेश उसके छोटे से भवन से आएगा। वह इसे रिकॉर्ड करेगा, इसे संग्रहीत करेगा, जिससे कि परमेश्वर की दुल्हन के पास भोज करने के लिए आत्मिक भोजन हो, भले ही वो जा चूका हो।
परमेश्वर अपने दूत भविष्यव्यक्ता से इतना प्रेम करता था कि उसने उसके भविष्यव्यक्ता को अपने वचन को हमारे लिए रखने में सहायता की।
जब परमेश्वर अपने सामर्थी दूत के जरिये से बोल चूका था और हमारे लिए सम्पूर्ण बाईबल को पूरी तरह से प्रकट किया और अनुवाद किया, उसके बाद उसने तब पिरामिड-जैसे चट्टान के ऊपरी सिरे के भाग को खोला, जिस पर लिखा भी नहीं गया था, और इसे अपने दूत के लिए प्रकट किया, ताकि हमारे लिए, जो दुल्हन है, उसके सारे छिपे हुए रहस्यों को दे सके।
परमेश्वर ने यहाँ तक भाई रॉबर्सन को भी एक दर्शन दिया, जहां उन्होंने देखा कि अग्नि का स्तंभ उसके भविष्यव्यक्ता को उठाता है और उसे पश्चिम की ओर ले जाता है, उसके बाद उसे वापस लौटाता है और उसे टेबल के शीर्ष स्थान पर नियुक्त करता है जहां उसका स्थान बदल दिया गया था।
तब पवित्र आत्मा ने बात की और उससे कहा, “यह मेरा सेवक है। और मैंने उसे युग का भविष्यवक्ता होने के लिए बुलाया है, ताकि मूसा की तरह लोगों का नेतृत्व करे। उसे अस्तित्व में बोलने का अधिकार दिया गया है।”
मूसा की बुलावट क्या थी? उसे क्या करना चाहिए था? परमेश्वर ने मूसा को आज्ञा दी लोगों को प्रतिज्ञा किए गए देश की ओर अगुवाही करे। लेकिन वहां ऐसे मनुष्य उठ खड़े हुए जिन्होंने तय कर लिया था कि वे उस आज्ञा में बाधा डालेंगे जो परमेश्वर ने मूसा को आज्ञा दी थी, यह कहते हुए, “तुम बहुत अधिक करने का दायित्व अपने ऊपर लेते हो। तुम अपने आप को झुण्ड में एकमात्र ऐसा व्यक्ति बनाने का प्रयास करते हो जिसे कुछ भी कहने का अधिकार है।”
इस प्रतिक्रिया से परमेश्वर इतना अप्रसन्न हुआ इतना तक कि उसने मूसा से कहा, “अपने आप को उनके बीच से अलग कर ले। मैं अब पूरे झुंड को मार डालूंगा, और तुम्हारे साथ एक नई पीढ़ी का आरंभ करूंगा। और मूसा परमेश्वर की उपस्थिति में गिर पड़ा और कहा कि उसे उसके ऊपर आना होगा।
यदि परमेश्वर हमारे समय में लोगों को नष्ट करने जा रहा होता, तो मूसा की तरह लोगों के लिए कौन खड़ा होता? हमें ऐसा एक मनुष्य कहां मिलेगा जो खड़ा होगा, या खड़ा हो सकता है, जिसे परमेश्वर स्वीकार करेगा जैसे उसने मूसा को किया? धरती पर केवल एक ही मनुष्य का जीवन है जो परमेश्वर के लिए बहुत ही मायने रखता है कि उसके क्रोध, उसके सामर्थी सातवें दूत के लिए बना रहे।
परमेश्वर के पास हमेशा ही एक योजना रही थी। उसकी दुल्हन उस योजना को पहचान लेगी और वचन दर वचन इसके साथ बनी रहेगी। वे जानते हैं कि उन्हें अवश्य ही उस आवाज के साथ रहना है जिसे परमेश्वर ने चुना है कि उन्हें प्रतिज्ञा के देश तक पहुंचाने के लिए उनकी अगुवाही करे।
परमेश्वर ने अपने भविष्यवक्ता के जरिये से बात की और एक भिन्न दिशा में जाने के लिए भरपूर स्थान को दिया, ठीक जैसे नूह ने जहाज में कबूतर और कौवे के साथ किया था। लेकिन उस कबूतर की तरह जो हमेशा ही जहाज़ में लौट आता है, दुल्हन भी हमेशा ही संदेश, उस आवाज़, टेप पर वापस लौट आएगी।
हमारे दिन का भविष्यव्यक्ता कौन था? इससे पहले भी सामर्थी भविष्यवक्ता रहे है जिन्हें परमेश्वर ने बुलाया और सारे युगों में से होते हुए अपने लोगों का नेतृत्व करने के लिए भेजा है: अब्राहम, मूसा, एलिय्याह, एलीशा, लेकिन उनमें से कोई भी हमारे दिन के सामर्थवान भविष्यवक्ता जैसा नहीं था। उसे उन सभी की तुलना में कहीं अधिक ऊँचे कार्यपद के लिए बुलाया गया था। वो ही केवल एक था जिसे परमेश्वर ने अपने सारे रहस्यों को प्रकट करने के लिए चुना था। वो ही केवल एक था जिसे परमेश्वर ने चुना था कि जहाँ कुछ नहीं था वहां कुछ तो अस्तित्व में बोलकर ले आये। वो ही एक चुना हुआ था कि तीसरे खींचाव को प्रकट करे। वो ही एक था जिसे परमेश्वर ने अपनी दुल्हन का नेतृत्व करने के लिए चुना था।
हम कितने आशीषित लोग हैं, परमेश्वर की चुनी हुई दुल्हन। हम भला कैसे उदास हो सकते हैं? हम भला कैसे दुखी हो सकते हैं? शैतान हमें निराश करने की कोशिश करता है, लेकिन हमारे पास विजय है, हम मोहरबंद हुए है, जहाज़ में सुरक्षित रूप से है। दरवाजे बंद हैं। हमारी कुछ भी हानि नहीं हो सकती। हम उसके लौटाये गये आदम हैं।
वह हमारे लिए आ रहा है, उसकी चुनी हुई दुल्हन। हममें से कुछ लोग ऐसे होंगे, जो मृत्यु के स्वाद को नहीं चखेंगे, लेकिन पलक झपकते ही क्षण भर में बदल जाएंगे। महिमा!!
आप में से प्रत्येक की तरह, मैं बहुत ही उत्तेजित हूं, जैसे-जैसे हर दिन, उसका वचन, मेरा प्रकाशन जो उसने मुझे दिया है, और अधिक और अधिक महान होता जा रहा है। मैं बड़ी अपेक्षा के अंदर हूं। यदि वह आज नहीं आता है, तो हो सकता है कल आये, लेकिन मैं जानता हूं कि वह बहुत जल्द ही आ रहा है और वो मेरे लिए और आपके लिए आ रहा है।
आकर हमारे साथ जुड़े रविवार दोपहर 12:00 बजे, जेफ़रसनविले समयनुसार, जब हम भोजन को सुनते है जिसे एक छोटी सी जगह में संग्रहीत किया गया हैं जब हम उसकी ओर देखते है और सुनते है: बीच दरार में खड़े होना 63-0623M । हम संदेश का आरंभ अनुच्छेद संख्या 27 से करेंगे।
भाई जोसफ ब्रंहम
संदेश को सुनने से पहले पढ़े जाने वाले वचन:
गिनती 16:3-4